Ahmad Faraz Ki Shayari – मुझ से हर बार नज़रें चुरा लेता है Rjain May 24, 2018 Uncategorized Comments मुझ से हर बार नज़रें चुरा लेता है वो ‘फ़राज़’ मैंने कागज़ पर भी बना के देखी हैं आँखें उसकी